हिंदी कहानी गधे की चतुराई | Hindi story
एक समय की बात है एक बार एक कुम्हार था। कुम्हार के पास एक गधा था जो कि बूढ़ा हो चुका था। कुम्हार ने सोचा कि अब यह गधा मेरे किसी काम का नहीं रहा खाली बैठे बैठे यह खाएगा ही और मुझे इसकी केवल सेवा ही करनी पड़ेगी मुझे इससे कोई फायदा नहीं है। कुम्हार ने गधे को मारने की सोची। और वह उस गधे को अपने खेत पर ले गया। वहां जाकर फावड़े से कुम्हार ने गड्ढा खोदना शुरू किया। गधा बहुत ही समझदार था, वह सारी बात समझ गया कि कुम्हार उस से पीछा छुड़ाना चाहता है। जब कुम्हार ने गड्ढा खोद लिया तो गधे को उस में धक्का दे दिया और ऊपर से मिट्टी गिराने लगा जैसे तैसे गधे ने हिम्मत करके खड़े होने की कोशिश की और जितनी बार कुम्हार गधे के ऊपर मिट्टी फेंकता उतनी बार गधा हिल हिल कर उस मिट्टी को अपने पीठ पर से गिरा देता और मिट्टी गधे के पैरों में जाकर गधे को और ऊंचा कर देती। ऐसा करते-करते सारी मिट्टी कुमार ने गड्ढे में डाल दी और गड्ढा भर गया । गड्ढा भर जाने पर गधा वहां से आसानी से निकल कर भाग गया और कुम्हार देखता रह गया । शिक्षा :- इस कहानी से हमें यह शिक्षा मिलती है कि यह दुनिया आपको हमेशा इसी प्रकार ...